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500 बसें नहीं चलीं:8 जिलों में 19 हाईवे समेत 21 रोड 20 घंटे तक रहे जाम,

500 बसें नहीं चलीं:8 जिलों में 19 हाईवे समेत 21 रोड 20 घंटे तक रहे जाम, गांवों के रास्तों पर 6 घंटे भटके लोगरोहतक में किसानों पर हुए बल प्रयोग के विरोध में सड़कों पर उतरे किसान, आम लोग हुए परेशान
वाहन चालकों को 5 से 25 किमी. ज्यादा सफर तय करना पड़ा
चढ़ूनी बोले- भाजपा व जजपा नेता कार्यक्रम रद्द करें, वरना विरोध करेंगे

मंत्री का जवाब- कार्यक्रम जारी रहेंगे, रोकने वालों पर कार्रवाई होगी

डीजीपी की सफाई- रोहतक में बल प्रयोग नहीं, किसी को आंच नहीं आएगी

रोहतक में किसानों पर हुए बल प्रयोग के विरोध में किसानों ने प्रदेश के 8 जिलों में 10 नेशनल हाईवे, 9 स्टेट हाईवे और 2 लिंक रोड पर 20 घंटे तक जाम लगाया। शनिवार शाम 7 बजे से शुरू हुआ प्रदर्शन दोपहर बाद 3:00 बजे तक जारी रहा। किसानों ने सिर्फ एंबुलेंस, शादी व किसानों के वाहनों को छोड़ किसी को जाने नहीं दिया।

किसानों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और सीएम का पुतला भी जलाया। प्रशासन ने रूट डायवर्ट कर गांवों के रास्तों से वाहनों को निकाला। वाहन चालकों को खराब रास्तों से 5 से 25 किमी का सफर अतिरिक्त तय करना पड़ा। जाम वाले रूटों पर करीब 500 बसें नहीं चलीं।

यात्री बस स्टैंड पर भटकते रहे। कई जगह लोग समय से काम पर नहीं पहुंच सके तो कहीं 6 घंटे तक रास्तों पर भटककर वापस भी लौटना पड़ा। रोहतक के मकडौली टोल पर भाकियू प्रदेशाध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी की अध्यक्षता में किसान पंचायत हुई। चढ़ूनी ने कहा कि भाजपा व जजपा के नेता आंदोलन चलने तक सार्वजनिक कार्यक्रम न करे। वरना विरोध करेंगे। इस पर शिक्षा एवं संसदीय कार्य मंत्री कंवरपाल गुर्जर ने कहा, ‘हम अपने कार्यक्रम करेंगे। कोई रोकता है तो कानूनी कार्रवाई होगी।

जींद, फतेहाबाद व हिसार जिला सबसे ज्यादा प्रभावित रहा

कैथल: 6 घंटे तक रास्तों पर भटकता रहा, वापस घर लौटा

हिसार-चंडीगढ़ व जींद हाईवे जाम रहा। पाई के राधेश्याम वर्मा गुड़गांव जाने के लिए निकले। 6 घंटे भटकते रहे। आखिर वापस घर लौट आए।

जींद: 25 किलोमीटर तक अतिरिक्त रास्ता तय किया

जींद में 5 हाईवे जाम रहे। वाहन चालकों को 5 से 25 किमी अतिरिक्त रास्ता तय करना पड़ा। 100 से ज्यादा बसें नहीं चल सकीं।

रोहतक-पानीपत हाईवे जाम, करनाल के असंध में भी प्रदर्शन

रोहतक-पानीपत हाईवे पर मकड़ौली टोल और चिड़ी गांव में रोड जाम किया। करनाल के असंध में जींद चौक पर जाम लगा नारेबाजी की।

सिरसा: मां प्रसूता बेटी की देखभाल को नहीं जा सकी

नेशनल हाईवे-9 जाम रहा। रूपावास की कांता ने बताया, ‘चंडीगढ़ में बेटी की डिलीवरी हुई थी। बसें न चलने से उसकी देखभाल को नहीं जा पा रही।’

फतेहाबाद/भिवानी: तीन घंटे तक बसें नहीं चल पाईं

दो नेशनल हाईवे, एक स्टेट हाईवे व दो लिंक रोड जाम रहे। 3 घंटे बसें नहीं चलीं। भिवानी में नारनौल हाईवे 35 मिनट जाम रखा।

हिसार: 3 प्रमुख हाईवे जाम, 212 बसें पूरी तरह बंद रहीं

चंडीगढ़, राजगढ़, दिल्ली हाईवे जाम। उकलाना में सूरेवाला चौक व हिसार-भादरा स्टेट हाईवे पर भी जाम लगाया। राेडवेज की 212 बसें बंद रहीं।

किसानों की अगली रणनीति

आज एफसीआई कार्यालय घेरेंगे, संसद कूच महिलाओं के नेतृत्व में

किसान पंचायत में गुरनाम चढ़ूनी ने बताया कि पहले से तय कार्यक्रम के अनुसार, सोमवार को एफसीआई कार्यालयों का घेराव किया जाएगा। 6 अप्रैल को संयुक्त किसान मोर्चा की बैठक में आंदोलन की अगली रणनीति तय की जाएगी। 14 अप्रैल को आम्बेडकर जयंती पर दलित समाज के प्रतिनिधि धरनों की अगुवाई करेंगे। 1 मई को मजदूर दिवस पर धरनों की कमान मजदूर वर्ग के प्रतिनिधि संभालेंगे। मई में संसद कूच का कार्यक्रम होगा। इसकी अगुवाई महिलाएं करेंगी।

पुलिस की तैयारी

गोदामों व कार्यालयों पर पुलिस तैनात, नुकसान नहीं पहुंचाने देंगे

प्रदेश में गोदामों पर किसानों के प्रस्तावित घेराव को लेकर पुलिस अलर्ट हो गई है। डीजीपी मनोज यादव ने सभी एसपी को करीब 300 गोदामों की सूची भेज दी है। वहां पुलिस फोर्स तैनात रहेगी। डीजीपी का कहना है कि किसी को आंच नहीं आने दी जाएगी। अनाज भंडारण का कोई नुकसान नहीं होने देंगे और अधिकारी-कर्मचारियों पर कोई आंच नहीं आने देंगे। किसानों को पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंचकर समझा रहे हैं, ताकि आम लोगों को परेशानी न हो। रोहतक में कोई लाठीचार्ज नहीं हुआ है।

इधर, भाजपा नेता का घेराव

भाजपा नेता को 3 घंटे रोका, माफी मांगी, तब जाने दियाजाखल, किसानों ने रविवार शाम भाजपा के जाखल मंडल अध्यक्ष हरविंदर लाली, भाजपा नेता जयदीप बराला एवं जिला सचिव हरीश गर्ग को गांव साधनवास में पूर्व सरपंच नरेंद्र बढ़ियाल की कोठी पर घेर लिया। ये सभी पूर्व सरपंच की माता के निधन पर शोक जताने आए थे।

ग्रामीणों ने तीनों नेताओं को 3 घंटे तक बाहर नहीं निकलने दिया। हरविंदर सिंह लाली ने जब घेराव का विरोध किया तो दोनों पक्षों में खूब बहस हुई। आखिरकार किसानों ने आगे से ब्लॉक के गांवों में न घुसने और किसानों के साथ हुई बहस पर माइक पर माफी मांगने के बाद हरविंदर सिंह को वहां से जाने दिया। इस दौरान पुलिस भी मौके पर मौजूद थी।

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