दिव्यांगों को राहत:दिव्यांगों काे अब सरकारी अस्पतालों की ओपीडी में नहीं काटने पड़ेंगे चक्कर, उपचार और यूडीआईडी कार्ड बनवाने काे मिलेगी प्राथमिकतादिव्यांग ने सरकारी अस्पतालाें में दिव्यांगाें की उपेक्षा पर लगाई थी काेर्ट में याचिका, सभी सिविल सर्जन को निर्देश
सरकारी अस्पतालाें की ओपीडी में उपचार या फिर पर्ची बनवाने के लिए अब दिव्यांगाें काे चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। यहीं नहीं यूडीआईडी कार्ड भी प्राथमिकता के आधार पर बनाए जाएंगे।
दिव्यांग की याचिका पर आयुक्त दिव्यांग जन हरियाणा, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग हरियाणा के न्यायालय ने संज्ञान लेते हुए सभी सिविल सर्जन काे इस संबंध में दशा निर्देश दिए हैं। िदव्यांगाें की प्राथमिकता के आधार पर समस्याओं का समाधान करने काे कहा है।
दरअसल, ऐसा हाेता है कि प्रदेशभर के सरकारी अस्पतालाें में ओपीडी से लेकर उपचार कराने के लिए दिव्यांगाें काे चक्कर काटने काे मजबूर हाेना पड़ता है। बार-बार शिकायत के बावजूद दिव्यांगाें की समस्याअाें का समाधान नहीं किया जाता है। दिव्यांग जीआरपी मल्हाेत्रा ने दिव्यांगाें की सरकारी अस्पताल में हाे रही उपेक्षा काे लेकर आयुक्त दिव्यांग की काेर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
याचिका पर आयुक्त ने संज्ञान लेते हुए महानिदेशक स्वास्थ्य सेवाएं हरियाणा प्रदेश के तमाम सिविल सर्जन को निर्देश जारी करते हुए दिव्यांग को ओपीडी में प्राथमिकता देने, सुगम्य परिवेश उपलब्ध करवाने, बैठने की उचित व्यवस्था करवाना आधारभूत ढांचागत सुविधाएं उपलब्ध करवाना व प्रति मास 3000 दिव्यांगता प्रमाण पत्र बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। प्रयास रहना चाहिए कि अस्पतालाें में दिव्यांगाें काे किसी भी तरह की परेशानी न हाे।
प्रदेश में दिव्यांगाें के तीन लाख से अधिक यूडीआईडी कार्ड हैं लंबित
संस्था विकलांग संघ उमंग के प्रदेश अध्यक्ष बंसीलाल झोरड़ एवं संस्थापक सुभाष चंद्र कुलरिया ने बताया कि सरकार ने दिव्यांगाें के लिए यूडीआईडी कार्ड बनाने की याेजना शुरू की थी। जिसके तहत देश के तमाम दिव्यांग काे ऑनलाइन पाेर्टल के माध्यम से दिव्यांगता प्रमाण पत्र जारी किए जाने हैं।
लेकिन हरियाणा में काफी संख्या में दिव्यांगाें ने यूडीआईडी कार्ड के लिए आवेदन किया हुआ है। मगर अभी भी हरियाणा में करीब तीन लाख यूडीआईडी कार्ड लंबित है। बार बार शिकायत के बावजूद इस पर काेई ध्यान नहीं दिया जा रहा है।
विकलांग संघ उमंग ने प्रमुखता से उठाई थी मांग
संस्था विकलांग संघ उमंग के प्रदेश अध्यक्ष बंसीलाल झोरड़ एवं संस्थापक सुभाष चंद्र कुलरिया ने बताया कि दिव्यांगाें के लिए यूडीआईडी कार्ड काे लंबित रखना दिव्यांग अधिकार अधिनियम 2016 की अवहेलना है। िजसके चलते संस्था ने भी आयुक्त के न्यायालय में याचिका दायर की हुई है। आशा है कि अब दिव्यांगाें के कार्ड व अन्य समस्याओं का जल्द से जल्द समाधान हाेगा।