हरियाणा के डिप्टी CM चौटाला बोले- मैं ये नहीं कहता कि तीनों कृषि कानून पूरी तरह ठीक हैं; लेकिन, बिना चर्चा के हल कैसे निकलेगा?हरियाणा के डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला की पार्टी JJP भाजपा के साथ सत्ता में है
किसान समर्थक छवि वाली JJP को कृषि कानूनों के चलते विरोध झेलना पड़ रहा है
हरियाणा में भाजपा के साथ दुष्यंत चौटाला की पार्टी JJP ( जननायक जनता पार्टी) सत्ता में है। किसानों की राजनीति करने वाली JJP में भी कृषि कानूनों को लेकर असमंजस है। किसान डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला की सभाओं में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। दैनिक भास्कर ने कृषि कानून और कुछ अन्य मुद्दों पर JJP नेता और राज्य के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला से बातचीत की। पेश है, इस बातचीत के प्रमुख अंश…
आप तीन कृषि बिलों को कैसे देखते हैं। क्या तीनों कृषि कानून किसानों के हक में हैं?
तीनों बिल इनडायरेक्टली कृषि से संबंधित है। कृषि को इफेक्ट करने वाले नहीं। तीनों बिलों पर भ्रम फैलाया गया है कि MSP खत्म हो जाएगा, लेकिन ऐसा नहीं होगा। हरियाणा में मेरी फसल, मेरा ब्यौरा पोर्टल खोला गया है। हम छह फसलों को MSP पर ख़रीदेंगे, जिससे किसानों को 48 घंटे में उनकी फसल का भुगतान हो रहा है।
बात सिर्फ MSP की नहीं है। किसान बिल की पूरी तरह वापसी की मांग कर रहे हैं ।आप इसे कितना ठीक मानते हैं?
ज्यादातर लोग जो इस बिल पर चर्चा कर रहे हैं, उन्हें ये नहीं पता कि कॉन्ट्रैक्ट फॉर्मिंग देश भर में कई सालों से हो रही है चाहे वो राजस्थान में ऐलोवेरा की खेती हो संतरा की या असम के चाय बागान।
दुष्यंत चौटाला की खुद की नजर में तीनों कृषि बिल क्या बिल्कुल ठीक हैं?
मैं यह नहीं कहता कि बिल पूर्णतः ठीक है। GST जब आया तो वो भी ठीक नहीं था। उसमें भी बदलाव हुए। मैं स्वयं कहता हूं कि इसमें बदलाव की जरूरत है। प्रधानमंत्री ने भी कहा है कि बदलाव की जरूरत है तो हम बदलाव को तैयार हैं। हमारे संगठन की तरफ से भी सुझाव दिए