कोरोना दुनिया में:वायरस के नए स्ट्रेन पर बेअसर है ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन; रिपोर्ट आने पर साउथ अफ्रीका ने वैक्सीन को होल्ड पर रखाऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की कोरोना वैक्सीन को लेकर एक स्टडी में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है। मालूम चला है कि ये वैक्सीन कोरोना के नए स्ट्रेन पर ज्यादा असरसदार नहीं हैं। वैज्ञानिकों ने रिपोर्ट में वैक्सीन को ‘निराशाजनक’ बताया है। इसके बाद साउथ अफ्रीका की सरकार ने वैक्सीन की सप्लाई पर रोक लगा दी है।
यहां के स्वास्थ्य मंत्री ज्वेली माखिसे ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके इसकी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि एस्ट्राजेनेका की तरफ से साउथ अफ्रीका को 10 लाख डोज मिल चुके हैं। वैक्सीनेशन की प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है, लेकिन वैज्ञानिकों की स्टडी के बाद आगे की सप्लाई को होल्ड कर दिया गया है। ज्वेली ने बताया कि साउथ अफ्रीका में 90% केस कोरोना के नए स्ट्रेन के ही हैं। ऐसे में अगर वैक्सीन ही असरदार नहीं होगी तो उसे लेने का फायदा नहीं है।
दो हजार लोगों पर हुई स्टडी
वैज्ञानिकों ने ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन का ट्रायल दो हजार लोगों पर किया। इसमें पाया गया कि ये वैक्सीन नए स्ट्रेन से मामूली बचाव करती है। कोरोना से होने वाली मौतें भी कम नहीं होती हैं। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि अभी वह वैज्ञानिकों के संपर्क में हैं। आगे रिपोर्ट मिलने के बाद फैसला लिया जाएगा।
अमेरिका में 2021 में 1 लाख से ज्यादा मौतें
अमेरिका में 2021 की शुरूआत में ही कोरोना से 1 लाख से ज्यादा मौतें हो गईं। जनवरी में यहां संक्रमण से 95 हजार से ज्यादा लोगों ने जान गंवाई। फरवरी के इन 7 दिनों में ही 20 हजार से ज्यादा मौतें हो चुकी हैं। अब तक 4 लाख 74 हजार 933 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। हर दिन यहां 1500 से 2200 लोगों की मौत हो रही हैं।
कैलिफोनिर्या में वैक्सीनेशन का विरोध शुरू हुआ
महामारी के दौरान महीनों तक मास्क और लॉकडाउन के खिलाफ रैली करने वाले कुछ प्रदर्शनकारी अब कोविड -19 वैक्सीनेशन के विराेध में खड़े हो गए हैं। हाल ही में कुछ लोगों ने कोरोना वायरस वैक्सीन के विरोध में डोजर स्टेडियम में सामूहिक टीकाकरण स्थल के एंट्री गेट पर धावा बोल दिया।
कैलिफोर्निया वैक्सीन के विरोध का पुराना अप्रिय केंद्र रहा है, जबकि इधर काेरोनावायरस राज्य में अभी भी फैल रहा है। पिछले हफ्ते कैलिफोर्निया में हर रोज औसतन 500 लोगों की मौत कोरोना से हुईं और जल्द ही यह न्यूयॉर्क को पीछे छोड़कर सबसे ज्यादा मौतों वाला राज्य बन जाएगा।
महीनों से ये कट्टर दक्षिणपंथी कार्यकर्ता मास्क पहनने के नियमों, बिजनेस लॉकडाउन, कर्फ्यू और स्वास्थ्य अधिकारियों के खिलाफ रैली कर रहे हैं। वे इसे व्यक्तिगत स्वतंत्रता में सरकार का हस्तक्षेप बताते रहे हैं। लेकिन अब जब मास्क और लॉकडाउन अमेरिकी जीवन हिस्सा बन गए हैं, तो कुछ प्रदर्शनकारियों ने अपना विरोध और गुस्सा कोविड-19 के टीकों की ओर मोड़ दिया है।
वैक्सीन लेने के लिए नेपाल पर दबाव बना रहा चीन
महामारी के दौर में भी चीन छोटे और गरीब देशों को धमका रहा है। इसका एक और उदाहरण रविवार को सामने आया। दरअसल, नेपाल के मीडिया ने कुछ डॉक्यूमेंट्स के हवाले से बताया है कि चीन ने नेपाल सरकार पर सायनोवैक वैक्सीन को खरीदने के लिए दबाव बनाया था। न्यूज एजेंसी के मुताबिक, यह दबाव तब से बनाया जा रहा था जब चीन की वैक्सीन्स का एफिशिएन्सी डेटा भी मौजूद नहीं था और न ही इनकी पुष्टि हुई थी।