310 दिन बाद खुले स्कूल:निजी स्कूलाें में स्टूडेंट्स का बैंडबाजे व फूलों से स्वागत, कई सरकारी स्कूलाें में सोशल डिस्टेंस टूटा, छात्रा कर रही थी क्लासरूम में सफाईशिक्षामंत्री गोविंदसिंह डाेटासरा के निरीक्षण में बावड़ी में शिक्षक धूप में बैठे मिले, जानकारी नहीं दे सके, प्रिंसिपल सहित अन्य शिक्षक स्टाफ रूम में चाय बनवाते मिले
दाे शिक्षक एपीओ, प्रिंसिपल काे नाेटिस, पहले दिन कई स्कूलों में कम रही छात्र-छात्राओं की उपस्थिति
310 दिन से बंद स्कूल-कोचिंग और कॉलेज सोमवार से खुल गए। शिक्षण संस्थानों में उत्सव का माहौल था। बैंड बाजे के साथ फूल बरसाकर व तिलक लगाकर स्वागत किया गया। सेनेटाइजर से हाथ धुलवाए गए। कई स्कूलों में रेड कारपेट भी बिछाया गया। बच्चे भी 310 दिन बाद स्कूल आकर काफी खुश नजर आर रहे थे।
विषय विशेषज्ञों ने बताया कि अप्रैल तक चार माह में 60 प्रतिशत सिलेबस आसानी से पूर्ण हो जाएगा। हालांकि जिले के कई सरकारी स्कूलों में पहले दिन सोशल डिस्टेंसिंग को लेकर लापरवाही भी सामने आई। कई कक्षाओं में तो 50 से अधिक छात्र एक साथ बैठे मिले। वहीं शिक्षामंत्री गोविंदसिंह डोटासरा ने जिले की कई स्कूलों का दौरा किया अनियमितताएं पाए जाने पर दो शिक्षकों को एपीओ किया। विषय विशेषज्ञ बूंदी के सेवानिवृत्त सीडीईओ जगदीश प्रसाद चोटिया ने बताया कि 9वीं से 12वीं तक के स्कूल शुरू होने से ऑनलाइन स्टडी के दौरान आए डाउट्स क्लियर हो सकेंगे। ऑनलाइन क्लासेज व डाउट क्लासेज के चलते काफी सिलेबस पहले ही करवाया जा चुका है। अब शेष सिलेबस पूरा कर अच्छी तैयारी करवाई जा सकेगी।
बसों में 3 की सीट पर 2 विद्यार्थी, स्कूलों में बिछाया रेड कारपेट, आधे स्टाफ की ड्यूटी सोशल डिस्टेंस व सेनेटाइजेशन के लिए
स्कूल बसों में बच्चों को सोशल डिस्टेंस के तहत बिठा रखा था। तीन की सीट पर दो विद्यार्थियों को बिठाया हुआ था। वहीं हर बस में सेनेटाइजर व मास्क की व्यवस्था की गई थी। पालवास स्थित प्रिंस एजुकेशन हब में बच्चों का सुबह के समय बैंड बाजे के साथ फूल बरसा कर भावभीना स्वागत किया गया। प्रिंस एजुकेशन हब के निदेशक डॉ. पियूष सुंडा, रमाकांत स्वामी, प्रिंसिपल सहित अन्य स्टाफ ने बच्चों को कोरोना गाइडलाइन के बारे में बताया। विद्या भारती स्कूल में बच्चों का फूल बरसा व रेड कारपेट बिछाकर स्वागत किया गया। आधे स्टाफ की ड्यूटी बच्चों के हाथ धुलवा, सेनेटाइज कर कक्षाओं में बैठाने के लिए लगाई हुई थी।
सरकारी स्कूलों में कम आए छात्र
सरकारी स्कूलों में पहले दिन नामांकन की तुलना में छात्र-छात्राओं की उपस्थिति कम रही। राबाउमा विद्यालय बजाज रोड पर बच्चों को बिना मास्क आने पर उन्हें पहले मास्क लगाने लगवाया और इसके बाद ही प्रवेश दिया गया। निर्माण स्कूल में बच्चों के हाथ धुलवा व सेनेटाइज कर प्रवेश दिया जा रहा था। वहीं राजकीय पन्नालाल चितलांगिया उमा विद्यालय में बच्चों को सोशल डिस्टेंस के तहत बिठाकर पढ़ाया जा रहा था।
शिक्षामंत्री ने महात्मा गांधी स्कूल में खेलों के लिए ढाई लाख देने की घोषणा की
शिक्षामंत्री गोविंदसिंह डोटासरा ने सोमवार को पहले दिन सबसे पहले महात्मा गांधी स्कूल, सीकर का औचक निरीक्षण किया। 10वीं कक्षा के विद्यार्थियों का होमवर्क चैक किया। स्पोर्ट्स के लिए 2.50 लाख रुपए देने की घाेषणा की। प्रिंसिपल संगीता फगेड़िया को विद्यालय भवन की मरम्मत व पेंट के लिए आवश्यक बजट का प्रपोजल बनाकर भेजने के भी निर्देश दिए। इसके बाद वे एसके स्कूल, महात्मा गांधी गोकुलपुरा व राउमा विद्यालय गोकुलपुरा गए। यहां पर एडीएम धारासिंह मीणा भी साथ थे। राउमावि गोकुलपुरा में कलेक्टर अविचल चतुर्वेदी ने भी गोकुलपुरा स्कूल का निरीक्षण किया।
बावड़ी स्कूल में शिक्षकों ने नहीं लगा रखा था मास्क
राउमावि बावड़ी में दो अध्यापक विकास कुमार शर्मा एल-2 एवं विज्ञान विषय के वरिष्ठ अध्यापक मुकेश कुमार ने मास्क नहीं लगा रखे थे और न ही क्लासेज ले रहे थे। शिक्षामंत्री डोटासरा व डीईओ लालचंद नहलिया, एडीईओ हरदयालसिंह के आने पर भी वे बैठे रहे। विद्यालय से संबंधित जानकारी नहीं बता पाए। उन्हें एपीओ करने के निर्देश दिए। बावड़ी के प्रिंसिपल केशरदेव सहित अन्य शिक्षक स्टाफ रूम में चाय बनवा रहे थे। मंत्री ने प्रधानाचार्य केशरदेव को नोटिस जारी किया गया।
गोरियां में मास्क और सोशल डिस्टेंस का उल्लंघन
गौरियां में राजकीय प्राथमिक विद्यालय में बच्चे बिना सोशल डिस्टेंस के बैठे थे। किसी भी बच्चे के मुंह पर मास्क नही था। न ही वहां कोई अध्यापक मौजूद था। दांतारामगढ़ के रासीमा विद्यालय, बालिका मा. विद्यालय, राजकीय वरिष्ठ उपाध्याय संस्कृत विद्यालय, सहित कई स्कूलों का निरीक्षण किया गया। जिसमें एक एक कमरे में पचास से अधिक छात्र छात्राएं नो डिस्टेंस, नो मास्क के बगैर बैठे थे।