64 बरस की हुई केयू:11 जनवरी 1957को प्रथम राष्ट्रपति ने रखी थी नींव, अभी प्रदेश की 3 यूनिवर्सिटी में केयू के शिक्षक संभाल रहे उच्च पदसंस्कृत के एक विभाग से शुरू हुई यूनिवर्सिटी में अब 49 विभाग
11 जनवरी 1957 को स्थापित हुई कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी आज 64 बरस की हो गई है। कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी की स्थापना संस्कृत यूनिवर्सिटी और संस्कृत के एक विभाग के साथ हुई थी। वहीं अब कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी में 49 विभाग हैं। कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी प्रदेश की इकलौती यूनिवर्सिटी है, जिसे मानव संसाधन विकास मंत्रालय की ओर से कैटेगरी वन यूनिवर्सिटी की सूची में रखा है।
वर्तमान में केयू नैक से ए प्लस ग्रेड यूनिवर्सिटी है। इससे पहले कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी के पास नैक का ए ग्रेड था। केयू की स्थापना देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद ने की थी। वहीं यूनिवर्सिटी का एक्ट 1956 में बन गया था। इसके चलते केयू के पहले कुलपति 1956 में डॉ. एसी जोशी बने। वे 1959 तक केयू के कुलपति पद पर रहे।
केयू के तीन शिक्षक संभाल रहे कुलपति के पद
केयू में कार्यरत तीन शिक्षक वर्तमान में प्रदेश की तीन स्टेट यूनिवर्सिटी में कुलपति के पद को संभाल रहे हैं। जिनमें केयू के जनसंचार एवं मीडिया प्रौद्योगिकी संस्थान के प्रो. राजबीर सिंह एमडीयू रोहतक में कुलपति हैं। केयू के प्रो. दिनेश कुमार वाईएमसीए फरीदाबाद यूनिवर्सिटी में कुलपति हैं। वहीं हाल ही में केयू के लोक प्रशासन विभाग के प्रो. अजमेर मलिक को चौधरी देवीलाल यूनिवर्सिटी सिरसा में कुलपति लगाया गया है। वहीं कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी के वर्तमान कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा और चौधरी बंसीलाल यूनिवर्सिटी भिवानी के कुलपति प्रो. आरके मित्तल केयू के एल्यूमनाई रहे हैं।
कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी के तीन शिक्षक कुलसचिव पद पर
केयू के तीन शिक्षक प्रदेश की चार यूनिवर्सिटी में कुलसचिव के पदों को भी संभाल रहे हैं। केयू के लाइब्रेरी साइंस विभाग के डॉ. संजीव शर्मा कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी में कुलसचिव पद संभाल रहे हैं। इसी तरह डॉ. अवनीश वर्मा गुरू जंभेश्वर यूनिवर्सिटी में कुलसचिव हैं। केयू के लॉ विभाग के डॉ. अमित कांबोज डॉ. बीआर अंबेडकर नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी में कुलसचिव हैं।
संस्कृति और खेलों को दे रही बढ़ावा
केयू हर साल रत्नावली समारोह का आयोजन कर हरियाणवी संस्कृति को सहेजने का काम कर रही है। इसके साथ ही केयू में हरियाणा की संस्कृति को दिखाता धरोहर हरियाणा संग्रहालय भी है। इसके अलावा केयू में प्रथम स्वतंत्रता संग्राम 1857 क्रांति संग्रहालय भी स्थापित किया है। वहीं खेलों के क्षेत्र में कुरूक्षेत्र यूनिवर्सिटी मौलाना अबुल कलाम आजाद माका ट्रॉफी में देश की टॉप यूनिवर्सिटी में शामिल हैं।
आज प्रदर्शनी में दिखेगी विकास यात्रा
केयू के युवा एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम विभाग की ओर से सोमवार को 64वें स्थापना दिवस पर प्रदर्शनी के माध्यम से केयू की विकास यात्रा को दिखाया जाएगा। इस मौके पर केयू कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा हवन में आहुति डालेंगे। केयू कुलपति ने बताया कि हवन यज्ञ उसी स्थान पर होगा जहां पर 11 जनवरी 1957 को भारत के प्रथम राष्ट्रपति डॉ. राजेंद्र प्रसाद ने कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय की स्थापना की नींव रखी थी। केयू कुलपति ने कहा कि कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी को विश्व स्तरीय यूनिवर्सिटी बनाने के लिए सभी के साथ मिलकर काम किया जाएगा।