विरोध प्रदर्शन:नए कृषि कानून किसानों के हित में नहीं, सरकार जब तक इन्हें वापस नहीं लेती किसान पीछे नहीं हटेंगेराष्ट्रीय किसान नेता शिवकुमार कक्का की सरकार को चेतावनी
नए कृषि कानूनों के खिलाफ केजीपी-केएमपी इंटरचेंज पर नेशनल हाईवे पर मध्यप्रदेश सहित अन्य प्रदेशों के किसानों का धरना-प्रदर्शन जारी है। धरना रविवार को 18वें दिन में प्रवेश कर गया। किसान अपनी मांगों पर अडिग हैं। रविवार को धरना स्थल पर जो किसान इस आंदोलन में शहीद हुए हैं उनकी आत्मिक शांति के लिए हवन-यज्ञ किया गया।
इसमें यजमान की भूमिका राष्ट्रीय किसान नेता शिवकुमार कक्का ने निभाई। जिले के कई गांवों में भी हवन-यज्ञ किए गए। शाम को धरना स्थल पर कैंडल मार्च निकाला गया। किसान आंदोलन सफलता की इबारत लिखेगा: इस दौरान राष्ट्रीय किसान नेता शिवकुमार कक्का ने कहा कि नए कृषि कानून किसी भी कीमत में किसानों के हित में नहीं हैं।
इसलिए सरकार इन्हें वापस लें। जब तक सरकार ऐसा नहीं करती किसान पीछे नहीं हटेंगे। कक्का ने कहा कि आंदोलनकारी किसानों को जो लोग किसान नहीं कह रहे वे पागल हैं। ऐसे लोगों के मुंह लगने की जरूरत नहीं। एक दिन ऐसे लोग स्वयं किसानों के बीच बैठे दिखाई देंगे।
भाजपा सरकार ने जब से किसानों का आंदोलन शुरू हुआ है तब से इसे बांटने का प्रयास किया है। लेकिन वह इसमें असफल रही। आगे भी असफल रहेगी। किसान अपना कार्य कर रहे हैं। आंदोलन को किसानों का भरपूर सहयोग मिल रहा है। इसलिए किसानों का यह आंदोलन सफलता की एक इबारत लिखेगा।
किसानों के आगे सरकार को झुकना ही पड़ेगा: पंजाब के किसान नेता मंजीत सिंह ने कहा कि यह आंदोलन अब जनांदोलन बन चुका है। इसलिए किसानों की मांगों के आगे सरकार को झुकना ही पड़ेगा।