कृषि बिलों का विरोध:सिरसा में रातभर धरने पर बैठे रहे किसान, पुलिस ने 93 किसानों को हिरासत में लिया तो नेशनल हाईवे किया जाम किसान मंच के प्रदेशाध्यक्ष भारूखेड़ा समेत 7 पर केस दर्जकृषि बिलों के विरोध में सिरसा में बरनाला रोड पर किसानों का धरना मंगलवार को रातभर जारी रहा। बुधवार सुबह पुलिस किसानों को खदेड़ने में कामयाब रही। स्वराज पार्टी के नेता योगेंद्र यादव भी धरने के लिए पहुंचे थे। पुलिस ने उन्हें भी हिरासत में ले लिया। पुलिस कुल 93 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लेकर सदर थाना में ले गई। वहां पर किसान मंच के नेता भारूखेड़ा समेत 7 किसान नेताओं पर हिंसा करने और सरकारी कार्य में बाधा डालने का केस दर्ज किया है।
इस पर गुस्साए किसान संगठनों साहुवाला प्रथम के पास नेशनल हाईवे जाम कर दिया। उनकी मांग थी कि थाने में बैठाए किसानों को रिहा किया जाए। दर्ज केस वापस लिए जाए। इसके बाद जिलाभर से अन्य किसान सदर थाना के गेट पर पहुंच गए। वहां पुलिस बल तैनात कर दिया गया। किसान बाहर से नारेबाजी करने लगे और किसानों को छोड़ने की मांग की। किसानों की बढ़ती संख्या को देखकर जिला प्रशासन ने गिरफ्तार किए किसान नेताओं से बातचीत की और बाहर प्रदर्शन करने वालों को शांत करने के लिए मैसेज भिजवाया।
गौरतलब है कि मंगलवार शाम को किसानों ने भूमणशाह चौक पर पड़ाव डालने का ऐलान किया था। किसानों ने वहीं लंगर लगाया और रात को वहीं पर सोए। योगेंद्र यादव, प्रहलाद सिंह भारूखेड़ा समेत अनेक किसान नेता धरनास्थल पर रहे। किसान नेताओं ने ऐलान किया कि जब तक उपमुख्यमंत्री व बिजली मंत्री त्यागपत्र देकर उनके साथ नहीं आ जाते, धरना जारी रहेगा। रातभर डटे रहे, मगर बुधवार सुबह करीब 10 बजे डीएसपी कुलदीप सिंह, एसडीएम डॉ. जयवीर यादव की अगुवाई में की गई कार्रवाई में पुलिस ने धरनास्थल पर बिछाई गई दरियों वगैरह को कब्जे में ले लिया और धरनास्थल से वाहनों की आवाजाही शुरू करवा दी। इस दौरान किसान सड़क पर लेट गए, जिन्हें पुलिस ने उठाकर बसों में डाला।
करीब आधा घंटे बाद स्वराज पार्टी के नेता योगेंद्र यादव धरनास्थल पर पहुंचे तो उन्हें भी हिरासत में ले लिया। बसों में बैठाकर दोपहर 12 बजे 93 किसान सदर थाना में ले जाकर बंद कर दिए। योगेंद्र यादव ने कहा कि गिरफ्तारी से किसान डरने वाला नहीं हैं। किसान सड़कों पर आ गया है। अब नहीं डरेगा। अब किसान उसी चौक पर डेरा डालेंगे। आंदोलन जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि किसानों पर दमन कर पुलिस ने फिर पिपली की याद दिला दी है। उन्होंने कहा कि यह आंदोलन कानून वापस लेने तक जारी रहेगा। वहीं किसान नेता प्रहलाद सिंह भारूखेड़ा ने कहा कि भाजपा ने किसानों के आंदोलन को दबाने का प्रयास किया है। बीते दिवस भाजपा ने आंदोलन को दबाने के लिए अपने गुंडे भेजे, पत्थरबाजी करवाई। उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन नहीं थमेगा।